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साहस को सम्मान: पत्रकार नेहा दीक्षित को मिला ये अंतरराष्ट्रीय पुरस्कार
नेहा ने बताया कि किस तरह उन्हें धमकाया गया कि वह अपनी कलम का दायरा सीमित करें, लेकिन उन्होंने ऐसा नहीं किया
समाचार4मीडिया ब्यूरो 4 years ago
भारतीय स्वतंत्र पत्रकार नेहा दीक्षित को अंतरराष्ट्रीय पुरस्कार से नवाजा गया है। पत्रकारों के हित में काम करने वाले अंतर्राष्ट्रीय संगठन ‘कमेटी टू प्रोटेक्ट जर्नलिस्ट्स’ (सीपीजे) ने नेहा को ‘इंटरनेशनल प्रेस फ्रीडम अवॉर्ड 2019’ से सम्मानित किया है। वाशिंगटन में हुए समारोह में नेहा को यह पुरस्कार दिया गया। नेहा ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर सम्मान समारोह की तस्वीरें शेयर की हैं। इस मौके पर उन्होंने काम के दौरान मिलने वाली चुनौतियों को भी रेखांकित किया। नेहा ने बताया कि किस तरह उन्हें धमकाया गया कि वह अपनी कलम का दायरा सीमित करें, लेकिन उन्होंने ऐसा नहीं किया।
अपनी स्पीच में नेहा ने कहा कि जब उन्होंने पुलिस के एनकाउंटर पर स्टोरी की, तो उन्हें शीर्ष अधिकारियों ने फोन पर धमकाया। उनसे यहां तक कहा गया कि यदि उन्होंने ऐसे ही लिखना जारी रखा तो उनके परिवार को खतरा हो सकता है।
Last night, I received @pressfreedom #IPFA
— Neha Dixit (@nehadixit123) November 22, 2019
Amidst the tempting individualistic narratives in pop culture, I want to acknowledge that the strength & accolades are not mine alone. The award is for all Indian journalists who do their jobs without resources https://t.co/DQ67B0oqnn
नेहा दीक्षित अब तक कई खुलासे कर चुकी हैं, जिन्हें लेकर काफी बवाल भी मचा है। इनमें आदिवासी लड़कियों की तस्करी और उत्तर प्रदेश में हुए पुलिस एनकाउंटर प्रमुख हैं। बाल तस्करी के खुलासे के बाद तो उनके खिलाफ दो आपराधिक मामले भी दर्ज कराये गए थे। एनकाउंटर से जुड़ी अपनी स्टोरी के लिए नेहा उन 14 लोगों के परिवार से भी मिलीं थीं, जिन्हें कथित रूप से मौत के घाट उतार दिया गया। नेहा ने इन एनकाउंटरों की वैधता को लेकर सवाल उठाए थे।
एक अन्य स्टोरी में नेहा ने हरियाणा में हुई कथित गैर-न्यायिक हत्याओं को उजागर किया था। इसके अलावा, उन्होंने उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (रासुका) के कथित दुरुपयोग पर भी एक रिपोर्ट तैयार की थी। बता दें कि ‘सीपीजे’ अंतरराष्ट्रीय मंच पर दुनिया भर के पत्रकारों की आवाज उठाने वाला संगठन है और वह हर साल ऐसे पत्रकारों को सम्मानित करता है, जिन्होंने बिना डरे एक पत्रकार होने के दायित्व को निभाया। इस साल इस फेहरिस्त में नेहा दीक्षित को शामिल किया गया है।
नेहा के साथ ही ब्राजील की पेट्रीसिया केम्पस मेलो, निकारागुआ की लुसिआ पिनेडा उबाऊ एवं मिगुएल मोरा और तंजानिया के मैकसेन्स मेलो मुबयाजी को भी इस सम्मान से नवाजा गया है। इन सभी पत्रकारों को भी नेहा की तरह अपने काम के लिए मानसिक प्रताड़ना झेलनी पड़ी है। वहीं, पाकिस्तान के पत्रकार ज़फर अब्बास को ‘ग्वेन इफिल प्रेस फ्रीडम’ अवॉर्ड मिला है। अब्बास ‘डॉन’ अखबार के संपादक हैं।
नेहा दीक्षित के पास पत्रकारिता का लंबा अनुभव है। उन्होंने अपने करियर की शुरुआत खोजी पत्रकार के रूप में ‘तहलका’ मैगजीन के साथ की थी। इसके बाद वह ‘इंडिया टुडे’ की स्पेशल इन्वेस्टीगेशन टीम का हिस्सा बनीं। कुछ समय यहां रहने के बाद उन्होंने स्वतंत्र पत्रकार के रूप में नई पारी का आगाज किया। नेहा फिलहाल राष्ट्रीय सहित कई अंतरराष्ट्रीय मीडिया संस्थानों के लिए लिखती हैं।
समाचार4मीडिया की ओर से नेहा को अंतरराष्ट्रीय पुरस्कार प्राप्त करने के लिए बधाई!
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