होम / प्रिंट / मैगजींस के भविष्य को लेकर उठ रहे सवालों का इंडस्ट्री के दिग्गजों ने कुछ यूं दिया जवाब

मैगजींस के भविष्य को लेकर उठ रहे सवालों का इंडस्ट्री के दिग्गजों ने कुछ यूं दिया जवाब

इंडियन मैगजीन कांग्रेस 2023 में जुटे इंडस्ट्री के दिग्गजों ने डिजिटल के तेजी से बढ़ते दौर में मैगजीन बिजनेस के भविष्य को लेकर अपने विचार रखे।

समाचार4मीडिया ब्यूरो 1 year ago

मैगजीन पब्लिशिंग इंडस्ट्री से जुड़े तमाम लोगों को एक मंच पर लाने के लिए शुरू हुई पहल ‘इंडियन मैगजीन कांग्रेस’ (IMC) का इस बार 24 मार्च को दिल्ली में आयोजन किया गया। यह इस आयोजन का 12वां एडिशन था। दिल्ली में द ओबेरॉय होटल में आयोजित ‘इंडियन मैगजीन कांग्रेस‘ 2023 में  जुटे दुनियाभर के पब्लिशिंग इंडस्ट्री के दिग्गजों ने डिजिटल के तेजी से बढ़ते दौर में मैगजीन बिजनेस के भविष्य को लेकर अपने विचार रखे।

कार्यक्रम में इन दिग्गजों ने ‘Digital Paywall journey for magazines in India’ शीर्षक से आयोजित एक पैनल डिस्कशन में खुलकर अपने विचार रखे। इस सेशन में ‘आनंद विकटन’ के श्रीनिवासन बी, ‘AgriMedia‘ के जीन पॉल रेपरॉन, ‘Aller X’ के जेन थॉरसन, ‘दिल्ली प्रेस‘ के अनंत नाथ, ‘एचटी डिजिटल स्ट्रीम‘ के निखिल कनकेल शामिल रहे। इस सेशन को ‘RPSG group’ डीएन मुखर्जी ने मॉडरेट किया।

इस सेशन में चर्चा का प्रमुख विषय यह रहा कि डिजिटल के तेजी से बढ़ते दौर में मैगजीन बिजनेस का क्या भविष्य है। सेशन की शुरुआत करते हुए मुखर्जी ने पूछा कि क्या रीडर रेवेन्यू पर ज्यादा जोर देने की जरूरत है और जितना संभव हो, उतना कंटेंट दिया जाए, जिसके लिए पाठक भुगतान करते हैं अथवा क्या अभी भी यह विश्वास है कि भारत में विज्ञापन समर्थित मॉडल ब्रैंड्स के लिए कुछ वैल्यू निर्माण कर सकता है? इस सेशन के दौरान यह मुद्दा भी उठा कि डिजिटल के बढ़ते दौर में मैगजींस को अपने अस्तित्व के लिए आवश्यक रेवेन्यू जुटाना कठिन हो गया है।  

इस दौरान श्रीनिवासन का कहना था, ‘यदि कंटेंट भुगतान करने लायक है, तो उसे पेवॉल (paywall) के पीछे होना चाहिए। हम इसका इस्तेमाल ऑडियंस को आकर्षित करने के लिए करते हैं। हमें यूजर्स को आकर्षित करना है और जब हम देखते हैं कि यूजर समय व्यतीत कर रहा है तो हम कंटेंट को पेड करते हैं। मेरा मानना है कि पेवॉल और नो पेवॉल के बीच एक मिश्रण होना चाहिए।’

अनंत नाथ का कहना था, ‘जब हमारे लिए कुछ भी काम नहीं आया  तो वर्ष 2018 में हमने अपने कंटेंट को पेवॉल के पीछे रखना शुरू कर दिया। लोग शुरुआत में इसके विरोधी थे, लेकिन मैगजींस को बचाने के लिए पेवॉल जरूरी था। मुझे लगता है कि मैगजींस में एडवर्टाइजिंग बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाता रहेगा। हम एडवर्टाइजिंग की भूमिका को नकार नहीं सकते हैं।’

पेवॉल की सफलता दर के बारे में निखिल का कहना था, ’यह इस बात पर निर्भर करता है कि आपने किस प्रकार का पेवॉल सेट किया है, यानी क्या आप हार्ड पेवॉल (hard paywall),  मीटर्ड पेवॉल (metered paywall) या प्रोपेसिटी वॉल (propensity wall) का इस्तेमाल कर रहे हैं। एक ब्रैंड के रूप में मिंट के लिए हम अपना करीब 25 प्रतिशत रेवेन्यू डिजिटल से लाते हैं। एक मुफ्त वेबसाइट से रेवेन्यू लाने वाली वेबसाइट तक पेवॉल मिंट के लिए काफी बेहतरीन काम कर रहा है।’

एक वैश्विक परिदृश्य के बारे में जीन का कहना था, ‘जब मैं खासतौर से नीदरलैंड के मार्केट की बात करूं तो मैंने देखा है कि पिछले एक दशक के दौरान पब्लिशर्स काफी सारा मुफ्त कंटेंट देकर इंटरनेट को आकार देने में मदद कर रहे हैं। इस समय हमें उस बेहतर क्वालिटी वाले कंटेंट को पेवॉल के पीछे शिफ्ट करने की जरूरत है। अच्छी क्वालिटी वाले कंटेंट के लिए भुगतान करना होगा।’ वहीं, जेन का इस बारे में कहना था, ‘शुरुआत में पेवॉल की अवधारणा काफी सामान्य थी, लेकिन अचानक यह काफी ऊपर जा रही है, क्योंकि अब पाठकों को इसकी आदत हो रही है।’


टैग्स प्रिंट मैगजीन मैगजींस एसोसिएशन ऑफ इंडियन मैगजींस एआईएम प्रिंट न्यूज इंडियन मैगजीन कांग्रेस इंडियन मैगजीन कांग्रेस 2023 डिजिटल पेवॉल दिल्लीव प्रेस
सम्बंधित खबरें

‘दैनिक जागरण’ में रेजिडेंट एडिटर प्रदीप शुक्ला ने दिया इस्तीफा

प्रदीप शुक्ला इस अखबार के साथ करीब 20 साल से जुड़े थे और करीब दो साल से दिल्ली-एनसीआर के रेजिडेंट एडिटर के तौर पर अपनी जिम्मेदारी संभाल रहे थे।

3 days ago

नवरात्रि के आगमन से बड़े ब्रैंड्स के अखबारों में ऊर्जा का संचार तेज

3 अक्टूबर को नवरात्रि की शुरुआत ने भारत के प्रिंट इंडस्ट्री को उत्साहित कर दिया है। नेशनल और रीजनल दोनों ही तरह के बड़े दैनिक अखबारों  ने विज्ञापनों में भारी उछाल दर्ज किया है।

4 days ago

वरिष्ठ पत्रकार आशुतोष चतुर्वेदी और अनुज कुमार सिन्हा की किताबों का दिल्ली में हुआ विमोचन

नई दिल्ली स्थित कॉन्स्टीट्यूशन क्लब में दो अक्टूबर 2024 की शाम को आयोजित कार्यक्रम में राज्यसभा के उपसभापति हरिवंश नारायण जी बतौर मुख्य अतिथि शामिल हुए।

1 week ago

'अमर उजाला' में रेजीडेंट एडिटर बने आशीष तिवारी, मिली इस यूनिट की कमान

आशीष तिवारी इससे पहले ‘अमर उजाला वेब सर्विसेज’ (Amar Ujala Web Services) में अपनी जिम्मेदारी संभाल रहे थे। यहां वह नेशनल टीम में कार्यरत थे।

1 week ago

बॉलीवुड स्टार मीनाक्षी शेषाद्रि ने एडवोकेट डॉ. अजय कुमार पांडे की किताब का किया विमोचन

कार्यक्रम में जाने-माने लेखक, वरिष्ठ पत्रकार और आईटीवी ग्रुप, इंडिया न्यूज व आज समाज के एडिटोरियल डायरेक्टर पद्मश्री आलोक मेहता मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित थे।

1 week ago


बड़ी खबरें

‘दैनिक भास्कर’ की डिजिटल टीम में इस पद पर है वैकेंसी, जल्द करें अप्लाई

यदि एंटरटेनमेंट की खबरों में आपकी रुचि है और आप मीडिया में नई नौकरी की तलाश कर रहे हैं तो यह खबर आपके लिए काफी काम की हो सकती है।

8 hours ago

इस बड़े पद पर फिर ‘एबीपी न्यूज’ की कश्ती में सवार हुईं चित्रा त्रिपाठी

वह यहां रात नौ बजे का प्राइम टाइम शो होस्ट करेंगी। चित्रा त्रिपाठी ने हाल ही में 'आजतक' में अपनी पारी को विराम दे दिया था। वह यहां एडिटर (स्पेशल प्रोजेक्ट्स) के पद पर अपनी जिम्मेदारी निभा रही थीं।

20 hours ago

’पंजाब केसरी’ को दिल्ली में चाहिए एंकर/कंटेंट क्रिएटर, यहां देखें विज्ञापन

‘पंजाब केसरी’ (Punjab Kesari) दिल्ली समूह को अपनी टीम में पॉलिटिकल बीट पर काम करने के लिए एंकर/कंटेंट क्रिएटर की तलाश है। ये पद दिल्ली स्थित ऑफिस के लिए है।

23 hours ago

हमें धोखा देने वाले दलों का अंजाम बहुत अच्छा नहीं रहा: डॉ. सुधांशु त्रिवेदी

जिसकी सीटें ज़्यादा उसका सीएम बनेगा, इतने में हमारे यहाँ मान गये होते तो आज ये हाल नहीं होता, जिस चीज के लिए गये थे उसी के लाले पड़ रहे हैं।

1 day ago

भारत के कोहिनूर की तरह श्री रतन टाटा अमर रहेंगे: आलोक मेहता

उद्योगपति रतन टाटा का गुरुवार शाम को पूरे राजकीय सम्‍मान और पारसी रीति-रिवाज के साथ अंतिम संस्‍कार कर दिया। इस मौके पर उद्योग जगत के साथ ही समाज के हर तबके लोग मौजूद थे।

1 day ago