होम / टेक वर्ल्ड / ‘इंकॉग्निटो' मोड के जरिए गूगल पर यूजर्स के निजी डेटा को ट्रैक करने का आरोप
‘इंकॉग्निटो' मोड के जरिए गूगल पर यूजर्स के निजी डेटा को ट्रैक करने का आरोप
बता दें कि गूगल का ‘इंकॉग्निटो मोड’ एक ऐसा प्राइवेसी फीचर है, जो यूजर्स की ब्राउजिंग एक्टिविटी से जुड़ी जानकारी को सेव नहीं करता है।
समाचार4मीडिया ब्यूरो 9 months ago
टेक कंपनी गूगल कथित तौर पर एक मुकदमे को निपटाने पर सहमत हो गया है, जिसमें टेक दिग्गज पर ‘इंकॉग्निटो मोड’ में कई यूजर्स के डेटा को गलत तरह से ट्रैक करने के आरोप पर लगाया गया है।
बता दें कि गूगल का ‘इंकॉग्निटो मोड’ एक ऐसा प्राइवेसी फीचर है, जो यूजर्स की ब्राउजिंग एक्टिविटी से जुड़ी जानकारी को सेव नहीं करता है।
कथित तौर पर ट्रायल 5 फरवरी, 2024 से शुरू होना था, लेकिन इससे पहले ही गूगल ने इसे निपटाने की घोषणा की है। हालांकि इस मामले में होने वाले नुकसान के लिए याचिकाकर्ता की ओर से कम से कम 5 बिलियन डॉलर के भुगतान की मांग की गई थी।
याचिकाकर्ता ने गूगल पर यूजर्स की गतिविधियों को ट्रैक करने के लिए एनालिटिक्स, कुकीज और अन्य ऐप्स का उपयोग करने का आरोप लगाया, तब भी जब वे ‘इंकॉग्निटो मोड’ में ब्राउज कर रहे थे।
बता दें कि निपटान से संबंधित अधिकांश विवरण गोपनीय हैं। हालांकि, दोनों ही पक्ष मध्यस्थता के जरिए एक बाध्यकारी समझौते पर पहुंच गए हैं।
टैग्स गूगल इंकॉग्निटो मोड यूजर निजी डेटा