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अमिताभ अग्निहोत्री ने 'आदिपुरुष' मेकर्स की जमकर लगाई क्लास, बोले- ये कपटी और धूर्त हैं
अब अगर रामायण को लेकर अगर ऐसा कुछ होता है जो कि मर्यादा के अनुकूल नहीं है तो जाहिर सी बात है कि देश में और दुनिया में जो राम भक्त हैं उनका मन उद्वेलित होना स्वाभाविक है।
समाचार4मीडिया ब्यूरो 1 year ago
भगवान राम के जीवन पर आधारित फिल्म 'आदिपुरुष' को लेकर देश में एक विरोध की लहर आ गई है। इस फिल्म में रामायण का जिस बेहूदगी से वर्णन किया गया है उसे लेकर पूरे देश में इस फिल्म का विरोध हो रहा है। इसी मसले पर वरिष्ठ पत्रकार अमिताभ अग्निहोत्री ने इस फिल्म के मेकर्स को आड़े हाथ लिया और उनकी जमकर क्लास लगाई है।
उन्होंने कहा, प्रभु श्रीराम भारत की आध्यात्मिक और सांस्कृतिक चेतना के स्वरूप हैं। अब अगर रामायण को लेकर अगर ऐसा कुछ होता है जो कि मर्यादा के अनुकूल नहीं है तो जाहिर सी बात है कि देश में और दुनिया में जो राम भक्त हैं उनका मन उद्वेलित होना स्वाभाविक है।
अमिताभ अग्निहोत्री ने आगे कहा कि रामायण को मूलतः वाल्मीकि जी और बाबा तुलसीदास ने ही जन-जन तक पहुंचाया। इन दोनों ऋषियों ने जब राम कथा लिखी तो किसी राजा किसी जमीदार से इनाम की उपेक्षा से नहीं लिखी बल्कि लोगों के हृदय में भक्ति भाव प्रकट करने के लिए लिखी।
आदिपुरुष फिल्म में कुछ संवादों को लेकर के हाहाकार मचा हुआ है और कुछ संवाद तो ऐसे हैं जैसे कोई टपोरी बोल रहा है। उन्होंने आगे कहा की पूरी कथा में तमाम विसंगतियां हैं, पटकथा में उलटफेर हैं और माता जानकी का स्वरूप तो बिल्कुल भी अस्वीकार्य है।
हमने तो बचपन से यही पढ़ा कि माता सीता ने कभी भी अशोक वाटिका में रावण के चेहरे की ओर नहीं देखा लेकिन इस पटकथा में तो रावण और जानकी का संवाद ही दिखा दिया गया! यह कैसे स्वीकार होगा? अमिताभ अग्निहोत्री ने सवाल उठाया कि बार-बार भारत की आध्यात्मिक और सांस्कृतिक प्रतीकों के साथ खिलवाड़ क्यों किया जाता है?
पहले तो आप खिलवाड़ करते हैं और उसके बाद बेशर्मी की इंतहा करते हुए अपने आप का बचाव भी करते हैं और कुतर्कों के साथ पब्लिक के सामने आते हैं। लेकिन जब जन ज्वार उठता है तो आपको घुटने भी टेकने पड़ते हैं। अमिताभ अग्निहोत्री ने कहा कि इस देश में कुछ ऐसे धूर्त लोग हैं जो भारत के सहिष्णु होने का दुरुपयोग कर रहे हैं।
यह भोले लोग नहीं है! यह कपटी हैं, यह धूर्त हैं। अमिताभ अग्निहोत्री ने फिल्म के मेकर्स पर अपना गुस्सा निकालते हुए कहा कि जब टीजर का विरोध हुआ तो आपने भरोसा दिया कि रामायण की कथा से हमने बिल्कुल भी छेड़छाड़ नहीं की है और जब आप फिल्म में इतना घटियापन दिखा रहे हैं तो अब मीडिया के सामने आकर आप कह रहे हैं कि इसका तो रामायण से कोई मतलब ही नहीं है। यह कैसा दोगलापन है?
यह झूठ की मंडी अब नहीं चलेगी। उन्होंने कांग्रेस पार्टी का उदाहरण देते हुए कहा कि राजीव गांधी के समय में जो पार्टी शिखर पर विराजमान थी वही पार्टी 44 सीटों पर सिर्फ इसलिए सिमट गई क्योंकि उन्होंने राम को काल्पनिक कह दिया।
उन्होंने अटल बिहारी जी का उदाहरण देते हुए फिल्म के मेकर्स को सावधान किया है कि देश के भूतपूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी जी कहा करते थे कि 'चिंगारी का खेल बुरा होता है, इसलिए अब यह बंद कर दीजिए देश अब यह सब नहीं सहेगा। वरिष्ठ पत्रकार अमिताभ अग्निहोत्री के इस वीडियो को आप यहां देख सकते हैं-
"भारत के सहिष्णु होने का धूर्त लोग दुरुपयोग कर रहे हैं, ये भोले नहीं हैं, ये कपटी हैं ये धूर्त हैं, ये सब जानते हैं"#WATCH: https://t.co/wYi5Ny2a6x#abuttarchahiye #Adipurush @Aamitabh2 @BJP4India @BJP4UP @INCIndia @samajwadiparty @RSSorg @VHPDigital @manojmuntashir pic.twitter.com/jk5DoveXSP
— TV9 Uttar Pradesh (@TV9UttarPradesh) June 19, 2023
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